9/4/22

LET THEM FREE (Poem) -Saloni Chawla

'A Woman's Freedom Starts From Her Freedom in Thoughts'

       LET THEM FREE

                       Saloni Chawla 

Let my Thoughts run Wild and Smile, 

and cherish the Bliss of sereneness;

Let them enjoy the fragrance of : what Is not, Was not, perhaps....

Will or Will not be;

Let not them be imprisoned in

Your hands -  Oh Fate, my dear !

They will rest when they tire,

and will go to sleep :

amidst the woods of Reality.

Let them Free, Let them Smile....

at least for a While......

or else, they'll perish and....

so would I, along with them !! 


       Composed by Saloni Chawla

हमारे व्हाट्सएप से जुड़ें.. |   हमारे यूट्यूब से जुड़ें   |


सूचना:- साक्षात्कार देने हेतु यहाँ क्लिक करें

                                      👆👆                                

यदि आप अपना साक्षात्कार देना चाहते हैं तो आदरणीय यह साक्षात्कार देने हेतु साहित्य आजकल की आधिकारिक फॉर्म है। अतः इसे सही सही भरकर हरे कृष्ण प्रकाश के साथ अपना साक्षात्कार तिथि सुनिश्चित करवाएं।।
(Online/Offline दोनों सुविधा उपलब्ध)
  धन्यवाद:- *(साहित्य आजकल टीम)


 

यदि आप भी अपनी रचना प्रकाशित करवाना चाहते हैं या अपनी प्रस्तुति Sahitya Aajkal की Official Youtube से देना चाहते हैं तो अपनी रचना या वीडियो टीम के इस Whatsapp न0- 7562026066 पर भेज कर सम्पर्क करें।

कवि सम्मेलन की वीडियो देखने के लिए यहाँ क्लिक करें
यदि आप कोई खबर या विज्ञापन देना चाहते हैं तो सम्पर्क करें।
Email:- sahityaaajkal9@gmail.com


No comments:

Post a Comment